क्या आप भी अपनी चेकबुक का इस्तेमाल करते समय यह छोटी-सी गलती कर बैठते हैं? क्या आप भी हर चेक के पीछे दस्तखत कर देते हैं, भले ही उस पर किसी का नाम न लिखा हो? अगर हाँ, तो आपको सावधान रहने की ज़रूरत है। आपकी यह छोटी-सी लापरवाही आपके बैंक खाते को खाली कर सकती है। आज के डिजिटल युग में भी, चेक का महत्व कम नहीं हुआ है। लेकिन इसके इस्तेमाल से जुड़े नियमों की जानकारी न होना आपके लिए खतरनाक साबित हो सकता है। यह लेख आपको भारतीय रिज़र्व बैंक (RBI) द्वारा चेक से जुड़े नियमों और उन सावधानियों के बारे में बताएगा, जिन्हें अपनाकर आप अपने पैसे को सुरक्षित रख सकते हैं।
चेक के पीछे साइन क्यों करते हैं?
अक्सर लोग अनजाने में चेक के पीछे साइन कर देते हैं। उन्हें लगता है कि ऐसा करने से चेक की सुरक्षा बढ़ जाएगी। कुछ लोग तो आदतवश ही ऐसा करते हैं। लेकिन बैंकिंग नियमों के अनुसार, चेक के पीछे साइन करना एक खास स्थिति में ही ज़रूरी होता है। जब आप किसी व्यक्ति को थर्ड-पार्टी चेक देते हैं, तो वह व्यक्ति उस चेक को अपने खाते में जमा कराता है। इस स्थिति में, बैंक उस चेक को स्वीकार करने से पहले चेक के पिछले हिस्से पर साइन करने की मांग करता है। यह साइन चेक जारी करने वाले (आपके) और चेक प्राप्त करने वाले (थर्ड-पार्टी) दोनों के लिए होता है।
RBI के नियम क्या कहते हैं?
भारतीय रिज़र्व बैंक (RBI) ने चेक से जुड़े कई नियम बनाए हैं ताकि पैसों के लेनदेन में पारदर्शिता और सुरक्षा बनी रहे। इन नियमों के अनुसार:
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चेक पर साइन: चेक पर साइन हमेशा उसी तरह का होना चाहिए, जैसा आपके बैंक रिकॉर्ड में है। अगर साइन मेल नहीं खाता है, तो बैंक चेक को अस्वीकार कर सकता है।
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अधूरी जानकारी: अगर चेक पर तारीख, राशि (अंकों और शब्दों में), या प्राप्तकर्ता का नाम अधूरा है, तो चेक बाउंस हो सकता है।
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चेक का पीछे का हिस्सा: चेक के पीछे साइन तब तक नहीं करना चाहिए, जब तक कि वह बैंक द्वारा न मांगा जाए। बिना किसी कारण के चेक के पीछे किया गया साइन चेक को "बेअरर चेक" बना देता है। इसका मतलब है कि चेक को कोई भी व्यक्ति भुना सकता है।
क्या होता है जब आप चेक के पीछे साइन करते हैं?
जब आप किसी खाली या अधूरी चेक के पीछे साइन करते हैं, तो यह चेक को "ओपन चेक" या "बेअरर चेक" बना देता है। अगर यह चेक किसी गलत व्यक्ति के हाथ में लग जाए, तो वह व्यक्ति आसानी से उसमें अपना नाम और राशि भरकर आपके खाते से पैसे निकाल सकता है। बैंक भी ऐसे चेक पर आसानी से पैसे दे देता है, क्योंकि उस पर आपके साइन मौजूद होते हैं।
सुरक्षा के लिए क्या करें?
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कभी भी खाली चेक पर साइन न करें: यह सबसे महत्वपूर्ण नियम है। कभी भी किसी भी परिस्थिति में खाली चेक पर साइन न करें।
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चेक के पीछे बिना वजह साइन न करें: जब तक बैंक या कोई खास स्थिति न हो, तब तक चेक के पीछे साइन न करें।
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चेक भरते समय सावधानी बरतें: चेक पर तारीख, राशि और नाम साफ-साफ लिखें।
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ए/सी पेयी (Account Payee) लिखें: चेक को क्रॉस करने के बाद "A/C Payee" लिखना न भूलें। इससे चेक का पैसा केवल प्राप्तकर्ता के बैंक खाते में ही जमा होगा।
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पुराने चेक को नष्ट करें: अगर आपके पास पुराने या रद्द किए गए चेक हैं, तो उन्हें फाड़कर नष्ट कर दें।
अक्सर पूछे जाने वाले सवाल (FAQs)
1. अगर मैंने खाली चेक पर साइन करके दे दिया है और वह खो गया, तो क्या होगा?
अगर आपका खाली चेक खो गया है, तो तुरंत अपने बैंक को सूचित करें और भुगतान रोकने का अनुरोध करें।
2. क्या चेक के पीछे किए गए साइन से कोई कानूनी समस्या हो सकती है?
हाँ, अगर आपका चेक किसी गलत व्यक्ति के हाथ में पड़ जाए और वह इसका गलत इस्तेमाल करे, तो आप कानूनी समस्याओं में फंस सकते हैं।
3. क्या थर्ड-पार्टी चेक पर हमेशा पीछे साइन करना पड़ता है?
हाँ, जब कोई तीसरा व्यक्ति आपके चेक को अपने खाते में जमा कराता है, तो बैंक अक्सर पहचान के लिए चेक के पीछे दस्तखत करने को कहता है।
निष्कर्ष
चेक का इस्तेमाल करते समय सावधानी बरतना बहुत ज़रूरी है। चेक के पीछे बेवजह साइन करने की आदत से बचें। अपने बैंक खाते को सुरक्षित रखने के लिए हमेशा सभी नियमों का पालन करें। एक छोटी-सी सावधानी आपकी बड़ी बचत को सुरक्षित रख सकती है।
NOTE : यहां दी गई जानकारी एक सामान्य अनुमान और धारणा ओ के आधारित हे किसी भी जानाकरी कोई निष्कर्ष पर कृपया ना पोहचे। जानकारी के अनुरूप Expert की सलाह जरूर ले. धन्यवाद

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